/असम में अब तक का सबसे बड़ा ‘नौकरीकांड’, बीजेपी सांसद की डीएसपी बेटी को जेल
असम में अब तक का सबसे बड़ा 'नौकरीकांड', बीजेपी सांसद की डीएसपी बेटी को जेल

असम में अब तक का सबसे बड़ा ‘नौकरीकांड’, बीजेपी सांसद की डीएसपी बेटी को जेल

असम में अब तक का सबसे बड़ा 'नौकरीकांड', बीजेपी सांसद की डीएसपी बेटी को जेल

दिल्ली। पैसे लेकर नौकरी का खेल सिर्फ बिहार-यूपी में ही नहीं होता. असम में बीजेपी सांसद के डीएसपी बेटी को जेल भेजा गया. आरोप है कि बिना इम्तिहान दिए यानी असम पब्लिक सिविल सर्विस (APSC) का बिना परीक्षा दिए ही डीएसपी बन गई थीं.

मैडम की कॉपी में हैंड राइटिंग का मिलान नहीं हुआ. 2 साल से चल रहे जांच में 54 अफसरों को जेल भेजा जा चुका है. पिछले 10 दिन में ही 19 अफसरों के जेल भेजा गया. सब के सब तथाकथित ‘बड़े घरानों’ से ताल्लुक रखते हैं.

10 से 50 लाख रुपये में बिकी सीटें

तेजपुर से बीजेपी सांसद राम प्रसाद शर्मा की बेटी पल्लवी शर्मा कभी वर्दी में पिता के सामने शेखी बघारती थीं, मगर फिलहाल गुवाहाटी केंद्रीय कारागार में हैं. 2016 में हुए असम लोक सेवा आयोग की परीक्षा में उत्तर पुस्तिका में उनकी हैंडराइटिंग मैच नहीं करने के कारण गिरफ्तार किया गया. इसका मतलब ये हुआ कि इनकी कॉपियों को किसी और से लिखवाई गई. आरोप है कि एपीएससी की इस परीक्षा में बड़े पैमाने पर धांधली हुई थी. 10 लाख से लेकर 50 लाख रुपये लेकर सीटें बेची गई. जेल जाने से पहले सांसद की बेटी पल्लवी शिवसागर जिले में डीएसपी के तौर पोस्टेड थीं. इस मामले में अब तक 13 अधिकारियों को बर्खास्त कर दिया गया है.

APSC के तत्कालीन अध्यक्ष भी जेल में

एपीएससी में कैश फॉर जॉब घोटाले की जांच कर कर रही डिब्रूगढ़ पुलिस ने असम सिविल सेवा (एसीएस), असम पुलिस सेवा (एपीएस) और सहयोगी सेवाओं के अधिकारियों को हैंड राइटिंग टेस्ट के लिए बुलाया था. पुलिस को आन्सर शीट की फॉरेंसिक जांच के बाद गड़बड़ी की आशंका हुई थी. हैंडराइटिंग मैच नहीं होने पर इनको अरेस्ट कर लिया गया. इन अधिकारियों के चयन के समय राकेश पॉल असम लोक सेवा आयोग के अध्यक्ष थे. 2016 में पुलिस ने एपीएससी अध्यक्ष के अलावा आयोग के सदस्य समेदुर रहमान, बसंत कुमार दौले और परीक्षा के सहायक नियंत्रक पबित्रा कैईबार्ता को गिरफ्तार किया गया था.

घोटाले के वक्त थी कांग्रेस की सरकार

अंशुमिता गोगोई नाम की एक उम्मीदवार की शिकायत पर केस दर्ज हुआ था. अंशुमिता गोगोई ने आरोप लगाया था कि नौकरी लगाने के लिए उनसे 10 लाख रुपए की डिमांड की गई थी. इसके बाद मामले की जांच शुरू हुई तो परत दर परत चीजें खुलती चली गई. 2016 में असम लोक सेवा आयोग की नौकरियों में जब यह घोटाला सामने आया था, तो उस समय राज्य में तरुण गोगोई के नेतृत्व वाली कांग्रेस पार्टी की सरकार थी. फिलहाल असम में बीजेपी की सरकार है और वहां के सीएम सर्बानंद सोनोवाल हैं. बीजेपी सांसद राम प्रसाद शर्मा ने अपनी अपनी बेटी की गिरफ्तारी को राजनीतिक साजिश करार दिया है. इस मामले में कांग्रेस के पूर्व मंत्री नीलमणि सेन डेका के बेटे राजर्षि सेन डेका भी जेल में हैं.